मिथिलाक शान छी सभहक गुमान छी
मिथिला लेल बनलौं भगवान
सेनानी हम्मर सत् सत् अछि सबके प्रणाम यो
अप्पन त एकटा अछि नारा एक डेग विकास लेल
अई विपति मे भागल नेता तकबई सब कहाँ गेल
पूरा भारत मे भ गेलई एम.एस.यू. के नाम यो
अई विपति मे साथ निभा क कतेक बचेला जान यो
सब सेनानी क्रांतिकारी छथि करई सब गुणगान यो
अई काजक लेल उज्जवल करई अछि सबके झुईक प्रणाम यो
अई विपति मे घर-घर जा क पूछला सभहक हाल यो
ई भयावह बाढ़ी के कारण मिथिला अछि बेहाल यो
एम.एस.यू. के साथ निभाबू बढ़तई जग मे नाम यो
घर-घर चलई अहिना चर्चा अहाँ सभहक काज के
दुनिया मे गुणगान करई अछि मिथिला के जाब़ाज के
कतेक लिखू हम अहाँ सब लेल वर्णन नईं अछि काज के
दुनिया मे पहचाइन गेलईया मिथिला के आवाज के
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पिता का नाम- श्री शम्भू नाथ झा
पता- बसुआरा दरभंगा बिहार
पुरस्कार- ऑल इंडिया राइटिंग कम्पीटीशन्स (पेन इट टू विन इट जनवरी 2017) के विजेता, और प्रतिभा सम्मान विजेता
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